किसान महापंचायत के पदाधिकारी कोटपूतली पहुंचे
कोटपूतली-बहरोड़/सच पत्रिका न्यूज
किसान महापंचायत के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामपाल जाट ने कहा है कि किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य का वास्तविक लाभ तभी मिलेगा, जब राजस्थान की प्रत्येक ग्राम सेवा सहकारी समिति को स्थायी खरीद केंद्र बनाया जाएगा। उन्होंने यह बात बुधवार को भारतीय खाद्य निगम और राजफेड के अधिकारियों के साथ कोटपूतली मंडी में आकस्मिक निरीक्षण एवं बैठक के दौरान कही। रामपाल जाट ने बताया कि प्रदेश में कुल 8,187 ग्राम सेवा सहकारी समितियां हैं, लेकिन वर्तमान में केवल 535 खरीद केंद्र संचालित किए जा रहे हैं, जो कुल संख्या का मात्र 6.53 प्रतिशत है। इसके चलते किसानों को लंबी दूरी तय कर मंडियों में जाना पड़ता है, जहां उन्हें एमएसपी से कम दामों में उपज बेचने को मजबूर होना पड़ता है। उन्होंने यह भी बताया कि चना एवं सरसों की सरकारी खरीद में 25 प्रतिशत की सीमा तय होने के कारण लगभग 75 प्रतिशत उत्पादन समर्थन मूल्य से बाहर रह जाता है। उन्होंने कहा कि जब कुर्सियां कम हों और बैठने वाले ज़्यादा, तो अव्यवस्था और लूट स्वाभाविक हो जाती है। रामपाल जाट ने याद दिलाया कि 10 अक्टूबर 2019 को सरकार और किसान प्रतिनिधियों के बीच हुई लिखित वार्ता में यह तय हुआ था कि हर ग्राम सेवा सहकारी समिति को स्थायी खरीद केंद्र बनाया जाएगा और इसके लिए सरकार को एक वर्ष की तैयारी अवधि दी गई थी, लेकिन अब पांचवां वर्ष चल रहा है और समझौते पर अब तक कोई ठोस कार्य नहीं हुआ है। मीटिंग में प्रदेश अध्यक्ष मुसद्दीलाल यादव, कांग्रेस नेता रामनिवास यादव, प्रदेश मंत्री बत्ती लाल बैरवा एवं महेश जाट ने भी बैठक में भाग लिया और किसानों की समस्याओं को विस्तार से रखा। रामनिवास यादव ने कहा कि यदि सरकार सरसों और चने की खरीद में 25 प्रतिशत की सीमा को समाप्त कर दे तो दाने-दाने की खरीद संभव हो सकती है। उन्होंने यह भी कहा कि भ्रष्टाचार और लूट मुक्त खरीद व्यवस्था लागू करना राज्य सरकार का दायित्व है, जिसे बिना आंदोलन के भी धरातल पर लाया जा सकता है।