कार्य बहिष्कार और आंदोलन की दी चेतावनी
कोटपूतली-बहरोड़/सच पत्रिका न्यूज
राजस्व मंत्रालयिक कर्मचारी संघ ने राजस्व मंत्रालयिक कर्मचारियों को निदेशालय में सम्मिलित नहीं किए जाने की अपील की है। इसे लेकर कर्मचारियों ने मंगलवार को मंत्रालयिक निदेशालय गठन का विरोध किया और राजस्व मंत्रालयिक कर्मचारियों को निदेशालय में सम्मिलित नहीं किए जाने की मांग करते हुए जिला कलेक्टर कल्पना अग्रवाल को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा। संस्थापन अधिकारी रामनिवास सैनी, अतिरिक्त प्रशसानिक अधिकारी जगदीश मीणा, सतेंद्र ऐश्वरिया, कनिष्ठ सहायक अंकित कुमार ने बताया कि कुछ मंत्रालयिक संगठनों की मंत्रालयिक निदेशालय के गठन की मांग को ध्यान में रखते हुए पूर्ववर्ती सरकार के तत्कालीन मुख्यमंत्री ने मंत्रालयिक निदेशालय के गठन की घोषणा की थी। यह मंत्रालयिक निदेशालय राजस्व मंत्रालयिक कर्मचारियों के हित में नहीं है। इसे लेकर विरोध भी दर्ज करवाया जा चुका है। कार्मिकों ने कहा कि यदि राज्य सरकार द्वारा अधीनस्थ विभागों के मंत्रालयिक कर्मचारियों के लिए मंत्रालयिक निदेशालय का गठन किया जाता है तो राजस्व मण्डल एवं इसके अधीन प्रशासनिक कार्यालयों को मंत्रालयिक निदेशालय में शामिल नहीं किया जाए। यदि फिर भी राजस्व मण्डल एवं इसके अधीन प्रशासनिक कार्यालयों को मंत्रालयिक निदेशालय में शामिल किया जाता है तो समस्त राजस्व मंत्रालयिक कर्मचारी अनिश्चितकालीन कार्य बहिष्कार करेंगे एवं संघ की ओर से मजबूरन आन्दोलन किया जाएगा, जिसकी समस्त जिम्मेदारी सरकार की होगी। इस दौरान सहायक प्रशासनिक अधिकारी सुरेश मीणा, वरिष्ठ सहायक महेश कसाना, कनिष्ठ सहायक भरत कुमार व भूप सिंह सहित अनेक कार्मिक मौजूद रहे।
इन मांगों पर भी दिया जोर
कर्मचारियों ने तहसीलदार पदों पर मंत्रालयिक संवर्ग का कोटा सुरक्षित रखने की मांग करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री के आश्वासन और पूर्व समझौते के बावजूद अन्य संगठनों के दबाव में कोटे में छेड़छाड़ नहीं होनी चाहिए। उपखंड कार्यालयों में बढ़ते कार्यभार को देखते हुए सहायक प्रशासनिक अधिकारी और वरिष्ठ सहायक के पद सृजित किए जाएं। जिलों के पुनर्गठन के बाद नियमित कार्मिकों की स्थाई नियुक्ति की जाए। तहसीलदार पद की डीपीसी शीघ्र संपन्न की जाए। मंत्रालयिक कर्मचारियों को प्रशासनिक कार्यालयों के समान वेतन और सुविधाएं दी जाएं। कार्यालयों में कंप्यूटर, प्रिंटर और फर्नीचर की कमी को दूर किया जाए तथा राजस्व विभाग में फील्ड स्टाफ के दुरुपयोग को रोका जाए।
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